सरल धनप्राप्ती साधना
एक अर्धखिली कमल की कली लेकर कमल के केसर और पँखुडियों के बिच नवनित (मक्खन)भर कर श्री सुक्त की १५ ऋचा का १०८बार जाप करके कमल की कली का अंत में अग्नि में हवन कर आहुति दे देवे ऐसा ४४ शुक्रवार तक करने से साधक को लक्ष्मी की प्राप्त होती है
ऋचा इस प्रकार से है ....
श्रीं तां म आवह जातवेदो लक्ष्मी मन पगामिनीम् ।
यस्यां हिरण्यं प्रभूतं गावो दास्योअश्र्वान् विन्देयं पुरुषानहम्।।
ऋचा को लिखने मेंं शब्दो की त्रुटि हो सकती है आप सभी श्री सुक्त की पुस्तक बाजार से लाकर त्रुटि दुर कर जाप कर लाभ प्राप्त करे |
No comments:
Post a Comment